जब गूगल मैप ने पहुंचा दिया जर्मनी के इन दो लोगो को खतरनाक जंगल में ,भटकते भटकते पहुंच गए इस खतरनाक जगह पर

Saroj kanwar
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गूगल मैप कई बार दिशा बताते हुए डिजाइन भी कर देता है यानी हम ऐसी जगह पहुंचा देते हैं जहां कोई रास्ता ही ना हो। न्यूज़ के अनुसार ,दो जर्मन पर्यटकफिलिप मायर और मार्सेल शोएने गूगल मैप्स के निर्देशों का पालन करते करने के बाद खुद को ऑस्ट्रेलिया जंगल में खोया हुआ पाया।वे केर्न्स तक जा रहे थे और सुदूर गंदगी वाली रास्ते पर पहुंचे जो उन्हें जनता के लिए बंद एक राष्ट्रीय उद्यान में ले गया।

,उनकी कार सुनसान ट्रैक पर 37 मील चलने के बाद कीचड़ में फंस गई

रिपोर्ट के अनुसार ,उनकी कार सुनसान ट्रैक पर 37 मील चलने के बाद कीचड़ में फंस गई। कोई सेल सेवा नहीं होने और सीमित आपूर्ति के कारण ,उन्हें सुरक्षित जगह पर पहुंचने के लिए अपनी गाड़ी को छोड़ने और एक सप्ताह से अधिक समय तक पैदल यात्रा करने के लिए मजबूर होना पड़ा। उन्हें तूफान ,गर्मी और कठोर मौसम की स्थिति का सामना करना पड़ा। यहां तक उन्हें मगरमच्छ से भरी परी नदी का सामना करना पड़ा।

लेकिन यह बन ना सका तो आसमान के नीचे सो गए

60 किलोमीटर का सफर तय करने के बाद उनकी गाड़ी फंस जाने की वजह से उन्हें दिक्कत का सामना करना पड़ा पैदल आगे बढ़ने का प्रयास करते हुए। उन्हें जल्दी ही एहसास ही गया की वे पूरी तरह से उलझ गए हैं। मायर ने कहा कि ,मुझे ऐसा लग रहा है कि जैसे मैं किसी फिल्म में हूं ,किसी खराब फिल्म की तरह ,लेकिन इसका अंत सुखद था। उन्होंने आगे कहा , हमनेएक आश्रय बनाने की कोशिश की लेकिन यह बन ना सका तो आसमान के नीचे सो गए।

कंपनी को राहत है कि जर्मन पर्यटक सुरक्षित

पुरे समय बारिश हो रही थी। जंगल में खोये इन दोनों लोगों को वापस कोएन शहर तक पैदल चलने में एक सप्ताह लगे। इधर गूगल के प्रतिनिधि ने कहा कि ,कंपनी को राहत है कि जर्मन पर्यटक सुरक्षित और उन्होंने बताया कि जांच चल रही है। आपको बता दें की यह पहली बार नहीं है जो गूगल गूगलमैप्स ने यूजर्स को गुमराह किया। कुछ महीने पहले, कैलिफ़ोर्निया में एक ग्रुप को राजमार्ग से भटका कर गूगल मैप रेगिस्तान में ले गया।

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