UPI Payment Update :UPI लेन-देन करने वालों के लिए खुशखरी! सरकार ने जारी किया आज से नया नियम 

Saroj kanwar
9 Min Read

UPI Payment Update: भारत में डिजिटल भुगतान की दुनिया में एक नया अध्याय शुरू हो गया है। भारतीय रिजर्व बैंक और नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया ने मिलकर यूपीआई यानी यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस के नियमों में बड़े बदलाव किए हैं जो अब देशभर में लागू हो चुके हैं। पिछले कुछ वर्षों में यूपीआई भारत में सबसे लोकप्रिय डिजिटल भुगतान माध्यम बन गया है। गूगल पे, फोन पे, पेटीएम और भीम जैसे ऐप्स के माध्यम से करोड़ों लोग रोजाना छोटे-बड़े लेनदेन करते हैं। लेकिन अब तक यूपीआई की कुछ सीमाएं थीं जो बड़े भुगतानों में बाधा बनती थीं। नए नियमों ने इन सीमाओं को दूर कर दिया है और यूपीआई को और भी शक्तिशाली और उपयोगी बना दिया है।

पांच लाख रुपये तक का एक बार में भुगतान

नए नियमों में सबसे बड़ा और महत्वपूर्ण बदलाव यह है कि अब एक बार में यूपीआई के माध्यम से पांच लाख रुपये तक का भुगतान किया जा सकता है। पहले यह सीमा बहुत कम थी जिसके कारण बड़ी खरीदारी या भुगतान के लिए लोगों को अन्य माध्यमों का सहारा लेना पड़ता था। अब यदि आप कोई गाड़ी खरीद रहे हैं, संपत्ति की बुकिंग के लिए एडवांस दे रहे हैं, सोने के आभूषण खरीद रहे हैं या कोई महंगा इलेक्ट्रॉनिक सामान ले रहे हैं तो आप सीधे यूपीआई से भुगतान कर सकते हैं। यह बदलाव विशेष रूप से व्यापारियों और उन ग्राहकों के लिए लाभदायक है जो नकदी लेकर चलना पसंद नहीं करते। इससे लेनदेन में पारदर्शिता भी बढ़ेगी और रिकॉर्ड रखना आसान होगा।

ग्रामीण क्षेत्रों के लिए यूपीआई लाइट की बढ़ी सीमा

सरकार ने ग्रामीण और कमजोर नेटवर्क वाले क्षेत्रों के लोगों की समस्याओं को समझते हुए यूपीआई लाइट की सीमा पांच सौ रुपये से बढ़ाकर एक हजार रुपये कर दी है। यूपीआई लाइट एक विशेष सुविधा है जो बिना इंटरनेट कनेक्शन या कमजोर नेटवर्क की स्थिति में भी छोटे भुगतान करने की अनुमति देती है। यह विशेषता गांवों और दूरदराज के इलाकों में रहने वाले लोगों के लिए वरदान साबित होगी। अब छोटे दुकानदार, किराना व्यापारी और ग्रामीण उपभोक्ता भी आसानी से डिजिटल भुगतान कर सकेंगे। इससे डिजिटल इंडिया के सपने को साकार करने में मदद मिलेगी और कैशलेस अर्थव्यवस्था को बढ़ावा मिलेगा।

ऑटो पे की सीमा में भारी वृद्धि

यूपीआई ऑटो पे एक बहुत उपयोगी फीचर है जिसमें आप किसी नियमित भुगतान को स्वचालित कर सकते हैं। पहले इसकी सीमा केवल पंद्रह हजार रुपये थी लेकिन अब इसे बढ़ाकर एक लाख रुपये कर दिया गया है। इसका मतलब यह है कि अब आप अपने बिजली बिल, पानी के बिल, बीमा प्रीमियम, लोन की ईएमआई, नेटफ्लिक्स या अमेजन प्राइम जैसी ओटीटी सेवाओं की सदस्यता और अन्य नियमित खर्चों को ऑटो पे से जोड़ सकते हैं। एक बार सेट करने के बाद हर महीने निर्धारित तिथि पर यह भुगतान स्वतः हो जाएगा और आपको बार-बार मैन्युअल रूप से अप्रूवल देने की जरूरत नहीं पड़ेगी। यह सुविधा व्यस्त जीवनशैली वाले लोगों के लिए बहुत फायदेमंद है क्योंकि इससे भुगतान छूटने या देर से होने की संभावना समाप्त हो जाती है।

बायोमेट्रिक सुरक्षा से बढ़ी सुरक्षा

डिजिटल भुगतान में सुरक्षा सबसे महत्वपूर्ण पहलू है। धोखाधड़ी और साइबर अपराधों को रोकने के लिए अब यूपीआई में बायोमेट्रिक प्रमाणीकरण की सुविधा जोड़ी गई है। अब आप अपने फिंगरप्रिंट, चेहरे की पहचान या आंख की पुतली की स्कैनिंग के माध्यम से भुगतान को प्रमाणित कर सकते हैं। यह तकनीक पारंपरिक पिन या पासवर्ड से कहीं अधिक सुरक्षित है क्योंकि बायोमेट्रिक जानकारी हर व्यक्ति के लिए अद्वितीय होती है और इसे चुराना या नकल करना लगभग असंभव है। यह सुविधा विशेष रूप से वरिष्ठ नागरिकों और कम तकनीकी जानकारी रखने वाले लोगों के लिए उपयोगी है क्योंकि उन्हें जटिल पासवर्ड याद रखने की जरूरत नहीं होगी। बायोमेट्रिक सुरक्षा के साथ यूपीआई दुनिया के सबसे सुरक्षित भुगतान प्रणालियों में से एक बन गया है।

क्रेडिट कार्ड को यूपीआई से जोड़ने की सुविधा

अब तक यूपीआई केवल बैंक खातों से जुड़ा हुआ था लेकिन नए नियमों के तहत अब आप अपने क्रेडिट कार्ड को भी सीधे यूपीआई से लिंक कर सकते हैं। यह एक बहुत बड़ी सुविधा है क्योंकि इससे आपको क्रेडिट कार्ड के सभी लाभ यूपीआई के माध्यम से मिलेंगे। आप रिवॉर्ड पॉइंट्स कमा सकेंगे, कैशबैक पा सकेंगे और क्रेडिट की सुविधा का उपयोग कर सकेंगे। छोटे व्यापारियों के लिए भी यह फायदेमंद है क्योंकि अब उन्हें अलग से क्रेडिट कार्ड स्वाइप मशीन रखने की जरूरत नहीं होगी। एक ही क्यूआर कोड से वे बैंक खाते और क्रेडिट कार्ड दोनों से भुगतान स्वीकार कर सकेंगे। यह सुविधा विशेष रूप से महंगी खरीदारी के समय उपयोगी है जब आप तुरंत भुगतान नहीं करना चाहते बल्कि क्रेडिट सुविधा का लाभ उठाना चाहते हैं।

छोटे व्यापारियों के लिए वरदान

ये सभी बदलाव छोटे और मध्यम व्यापारियों के लिए बहुत फायदेमंद साबित होंगे। अब वे बिना किसी जटिलता के बड़ी राशि का भुगतान स्वीकार कर सकेंगे। पहले पांच लाख रुपये का भुगतान लेने के लिए उन्हें चेक लेना पड़ता था या नेट बैंकिंग का सहारा लेना पड़ता था जो समय लेने वाली प्रक्रिया थी। अब यूपीआई से तुरंत भुगतान हो जाएगा और उनके खाते में पैसा आ जाएगा। इससे व्यापार में तेजी आएगी और लेनदेन में पारदर्शिता बढ़ेगी। क्रेडिट कार्ड को यूपीआई से जोड़ने की सुविधा से उनके ग्राहकों की संख्या भी बढ़ेगी क्योंकि कई लोग क्रेडिट कार्ड से खरीदारी करना पसंद करते हैं। ग्रामीण क्षेत्रों में यूपीआई लाइट की बढ़ी हुई सीमा से छोटे दुकानदारों को भी डिजिटल भुगतान अपनाने में आसानी होगी।

डिजिटल इंडिया की ओर बढ़ते कदम

ये नए नियम डिजिटल इंडिया के सपने को साकार करने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम हैं। सरकार का लक्ष्य है कि देश में नकदी का उपयोग कम से कम हो और अधिकांश लेनदेन डिजिटल माध्यम से हों। यूपीआई इस दिशा में सबसे सफल प्रयास साबित हुआ है। आंकड़ों के अनुसार भारत में हर महीने अरबों रुपये के यूपीआई लेनदेन होते हैं और यह संख्या लगातार बढ़ रही है। नए नियमों के लागू होने के बाद यह और भी तेजी से बढ़ेगी। अब छोटे से लेकर बड़े सभी प्रकार के भुगतान यूपीआई से किए जा सकेंगे। यह न केवल सुविधाजनक है बल्कि सुरक्षित भी है। डिजिटल लेनदेन से काले धन पर भी रोक लगती है और टैक्स चोरी कम होती है।

यूपीआई के नए नियम भारतीय डिजिटल भुगतान प्रणाली को एक नई ऊंचाई पर ले जाएंगे। पांच लाख रुपये तक के लेनदेन, बढ़ी हुई ऑटो पे सीमा, बायोमेट्रिक सुरक्षा और क्रेडिट कार्ड लिंकिंग जैसी सुविधाएं यूपीआई को और भी शक्तिशाली बनाती हैं। सभी नागरिकों को इन नई सुविधाओं का लाभ उठाना चाहिए और डिजिटल भुगतान को अपनाना चाहिए। हालांकि किसी भी लेनदेन से पहले सावधानी बरतना और सुरक्षा के नियमों का पालन करना जरूरी है।

Disclaimer

यह लेख केवल सामान्य जानकारी और जागरूकता के उद्देश्य से तैयार किया गया है। यूपीआई से संबंधित नियम, लेनदेन सीमा और सुविधाएं समय-समय पर बदल सकती हैं। सटीक और नवीनतम जानकारी के लिए कृपया नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया की आधिकारिक वेबसाइट npci.org.in या भारतीय रिजर्व बैंक की वेबसाइट rbi.org.in पर जाएं। किसी भी बड़े लेनदेन से पहले अपने बैंक से भी पुष्टि कर लें। यह लेख किसी वित्तीय सलाह का स्थान नहीं लेता।

TAGGED:
Share This Article
Leave a comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *