पीएम किसान योजना किसानों का प्रधानमंत्री किसान सम्मन निधि योजना का लाभ दिया जाता है। देश की सबसे बड़ी डीबीटी योजना है जिससे गरीब 11 करोड़ किसान जुड़े हैं। यह योजना गरीब और जरूतमंद किसानों का आर्थिक रूप से सशक्त बनाने के उद्देश्य चलाई गई है। लेकिन इसमें अपात्र लोग भी शामिल हो गए। योजना का लाभ प्राप्त करने लग गए । अब ऐसे लोगों की पहचान की जा रही है। हाल ही में करीब 13 लाख लोगों का अपात्र घोषित किया गया है योजना के पात्र नहीं होते हुए इसका लाभ उठा रहे है इन किसानों प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना की 18वीं क़िस्त नहीं मिलेगी।
इन लोगों को योजना से बाहर किया जाएगा।
इतना ही नहीं लोगों को नोटिस देकरउनसे इस योजना के तहत अब तक प्राप्त किस्तों की वसूली भी की जाएगी बिहार में 13 लाख से अधिकपात्र किसानो की जानकारी सामने आयी है जो पीएम किसान योजना के तहत प्रति वर्ष मिलने वाली 6000 रुपए की राशि का लाभ ले रहे थे इस तरह ₹6000 के हिसाब से देखे जाए तो किसानों के खाते में गरीब 780 करोड रुपए ट्रांसफर हो चुके हैं । कृषि सचिव संजय कुमार अग्रवाल ने राज्य के सभी जिलों की अधिकारियों को पत्र लिखकर पीएम किसान योजना के लाभ को भौतिक सत्यापन करने को कहा है ताकि यह पात्र किसानों के खाते में योजना का पैसा ट्रांसफर होने से रोका जा सकता है।
पीएम किसान सम्मन निधि योजना का लाभ परिवार के एक व्यक्ति को ही दिया जाना चाहिए
कृषि सचिव ने DM को जारी पत्र में लिखा है कि पीएम किसान सम्मन निधि योजना का लाभ परिवार के एक व्यक्ति को ही दिया जाना चाहिए । लेकिन जन वितरण प्रणाली के तहत लाभ ले रहे है लाभार्थियों के राशन कार्ड से लिंक आधार कार्ड से वन-टू-वन मिलान करने पर यह बात सामने आई कि इस योजना का लाभ परिवार के एक से अधिक व्यक्ति ले रहे हैं।
राज्य में 53 लाख 10 हजार 72 ऐसे राशन कार्ड धारी जिनके राशन कार्ड से जुड़े परिवार की66 लाख 59 हजार 871 लोग प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना का लाभ ले रहे है इनके खाते में प्रतिवर्ष हर चार माह के अंतराल पर तीन किस्तों में 2000-2000 रुपए की राशि भेजी जा रही है। यह नियम विरुद्ध है। सचिव के पत्र के मुताबिक अपात्रो को 17 किस्तों तक का रिश्ते का भुगतान कियाजा जा चुका है।
18वीं किस्त राशि अपात्र के खाते में नहीं भेजी जाए
कृषि सचिव ने सभी डीएम को यह सुनिश्चित करने को कहा है कि अगली किस्त यानी पीएम किसान योजना की 18वीं किस्त राशि अपात्र के खाते में नहीं भेजी जाए। इसके लिए एक-एक परिवार का सत्यापन कराया जाए। यह सु निश्चित किया जाना चाहिए कि सिर्फ योजना के पात्र किसानों को ही अगली किस्तों से खाते में ट्रांसफर हो। कृषि सचिव द्वारा दिए गए आंकड़ों के अनुसार पीएम किसान योजना के तहत ऐसे अपात्रो की संख्या मुजफ्फरपुर और पूर्वी चंपारण में सबसे ज्यादा है। ‘
यदि बात की जाए मुजफ्फरपुर के लिए यहां 3 लाख 6 हजार 707 परिवारों के 3 लाख 63 हजार 119 लोग योजना के तहत मिलने वाली राशि का लाभ ले रहे हैं जो गलत है। इस तरह यहां पर करीब 57 हजार अपात्र किसानो की खाते में प्रधानमंत्री किसान सम्मन निधि की राशि भेजी जा रही है। वहीं चंपारण में 3 लाख 22 हजार 455 परिवारों के 4 लाख 17 हजार 87 व्यक्ति को राशि भेजी जा रही है। इस तरह यहां 95 हजार अपात्र लोग पीएम किसान सम्मान निधि की राशि का लाभ ले रहे हैं।