NRI UPI Facility 2025: अगर आप विदेश में रहते हैं और भारत में अपने परिवार या दोस्तों को पैसे भेजते हैं, तो अब आपको भारतीय मोबाइल नंबर की जरूरत नहीं होगी। IDFC First Bank ने एक बड़ी सुविधा शुरू की है, जिसके तहत विदेश में रह रहे NRI ग्राहक अब अपने अंतरराष्ट्रीय मोबाइल नंबर से भी UPI ट्रांजैक्शन कर सकेंगे। यह सुविधा 25 जून 2025 को शुरू की गई है और यह खासतौर पर उन भारतीय प्रवासियों के लिए है जो विदेश में रहते हुए भी भारत में अपने बैंक खाते का संचालन करते हैं।
किन देशों के ग्राहक ले सकेंगे इस नई सुविधा का लाभ?
IDFC First Bank की यह सेवा 12 देशों में रहने वाले NRE/NRO अकाउंट होल्डर्स के लिए उपलब्ध कराई गई है। अब इन देशों में रह रहे ग्राहक गूगल पे, फोनपे, पेटीएम जैसे UPI ऐप्स का इस्तेमाल अपने विदेशी नंबर से ही कर सकेंगे। ये देश हैं ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, फ्रांस, हांगकांग, मलेशिया, ओमान, कतर, सऊदी अरब, सिंगापुर, UAE, यूनाइटेड किंगडम (UK) और यूनाइटेड स्टेट्स ऑफ अमेरिका (USA)।
क्या है इस सुविधा की मुख्य बातें?
यह सेवा IDFC First Bank के रिटेल कस्टमर्स के लिए पूरी तरह से सरल और सुरक्षित बनाई गई है। इसकी खासियतें इस प्रकार हैं:
भारतीय नंबर की अनिवार्यता खत्म: अब UPI खाते को सीधे इंटरनेशनल मोबाइल नंबर से लिंक किया जा सकता है।
तेजी से ट्रांजैक्शन की सुविधा: QR कोड, UPI ID या मोबाइल नंबर से तत्काल भुगतान किया जा सकता है।
कोई अतिरिक्त शुल्क नहीं: लेन-देन पर कोई ट्रांजैक्शन फीस नहीं ली जाएगी।
सुरक्षा का वही स्तर: जैसे भारत में UPI सुरक्षित है, वैसे ही विदेशी नंबर से भी लेन-देन उतना ही सुरक्षित होगा।
सिर्फ भारतीय रुपये में भुगतान: यह सेवा केवल INR यानी भारतीय मुद्रा में ट्रांजैक्शन के लिए ही होगी, कोई फॉरेन एक्सचेंज शुल्क नहीं लगेगा।
इंटरनेशनल UPI का सेटअप कैसे करें?
जो NRI ग्राहक इस सुविधा का लाभ लेना चाहते हैं, वे IDFC First Bank के मोबाइल ऐप पर नीचे दिए गए आसान स्टेप्स को फॉलो कर सकते हैं:
IDFC First Bank ऐप खोलें और ‘Pay’ पर टैप करें।
अपने NRE या NRO अकाउंट को ऐप में लिंक करें।
नया UPI ID बनाएं और तुरंत UPI पेमेंट शुरू करें।
इस प्रक्रिया में किसी भारतीय सिम या नंबर की जरूरत नहीं होगी।
एनआरआई को क्या मिलेगा सबसे बड़ा फायदा?
नियमित बिल भुगतान, रिचार्ज और ट्रांजैक्शन अब सिर्फ एक क्लिक दूर होंगे। वो भी इंटरनेशनल नंबर से।
अब भारत में रहने वाले रिश्तेदारों को फौरन पैसे भेजना आसान हो गया है।
विदेश में रहने वाले स्टूडेंट्स और वर्किंग प्रोफेशनल्स को अब भारतीय नंबर लेने या बदलने की जरूरत नहीं होगी।