क्याआप जानते है नंदी के कान में कैसे बोली जाती है अपनी मनोकामना ?

Saroj kanwar
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सावन का महीना शिव भक्तों के लिए खास होता है। भगवान शिव भगवान का सावन का महीना अति प्रिया है। इस महीने में शिव मंदिर में भारी वीडियो देखने को मिलती है इसकी पूजा करना परेशानियों को दूर करने की प्रार्थना करते हैं। आपने यह देखा होगा की इसी मंदिर में नंदी की भी मूर्ति जरूर स्थापित की जाती है। ऐसा माना जाता है कि जहां भी शिव मंदिर होता है वहां पर नंदी भगवान की मूर्ति होने वाली है।

शास्त्रों में इस बात का उल्लेख किया गया है नंदी भगवान शिव की प्रिय गणो में से एक है। इसी वजह से भगवान शिव जी के परम भक्त इसी तरह इसी वजह से भगवान शंकर जी के साथ हमेशा ही नंदी महाराज रहते हैं। हर शिव मंदिर में द्वारपाल के तौर पर नंदी जरूर विराजमान रहते हैं बिना नंदी की पूजा के बिना शिवाजी अधूरी मानी जाती है। जब भी भक्त शिव जी के मंदिर में जाते हैं तो वहां पर नंदी के कान में कुछ बोलते हैं।

ऐसा कहा जाता है की नंदी के कान में धीरे से अपनी मनोकामना बोली जाए तो भगवान शिव तक पहुंच जाती है और इच्छा जल्दी से पूरी हो जाती है। लेकिन जानकारी के आभाव में ज्यादा तर लोग नंदी के कान में मनोकामना बोलने का सही तरीका नहीं जानते हैं। आज हम आपको इसी बारे में बताएंगे। आज हम आपको इसके बारे में बताएंगे।

नंदी के कान में मनोकामना बोलने का सही तरीका

धर्म शास्त्रों में इस बात का जिक्र किया गया की नंदी के कान में जिक्र किया गया है की अपनी मनोकामना बोलने का सही तरीका होता है। अगर व्यक्ति तरीके से अपने अपनाता है तो उसकी मनोकामना जल्दी से जल्दी पूरी हो जाती है। जब भी आप शिवजी के मंदिर में जाते हैं नंदी की पूजा जरूर कीजिए क्योंकि बिना नंदी की पूजा की आप शिवलिंग की पूजा करते हैं तो इसका पुण्य प्राप्त नहीं हो पाता है।

आपको इस बात का ध्यान रखना होगा की पूजा आरती करने के बाद किसी से भी बातचीत मत कीजिए। आप अपनी मनोकामना नंदी भगवान की कान में बोलते हैं। ऐसी मान्यता है कि शिव जी ने खुद नंदी भगवान को यह वरदान दिया था कि जो व्यक्ति तुम्हारे कान में अपनी मनोकामना करेगा उसकी इच्छा जरुर पूरी होगी। ऐसा माना जाता है की नंदी के कान में बोली गई हर मनोकामना शिवजी तक पहुंचा देते हैं। क्योंकि भगवान शिव जी ज्यादा तपस्या में लीन रहते हैं और उनकी तपस्या में विध्न न पड़े इसलिए लोग अपनी समस्या नंदी के कान में बोलकर चले जाते हैं।

जब आप नंदी भगवान के कान में अपनी मनोकामना बोल रहे हैं तो उस समय आपको इस बात का ध्यान रखना होगा कि नंदी जी के बाएं कान में ही अपनी मनोकामना बोलें। इसमें मनोकामना बोलना अत्यधिक शुभ माना गया है।
अपनी मनोकामना बोलने के बाद नंदी के सामने पैसे, फल या मिठाई आदि कुछ अर्पित जरूर कीजिए। वहीं आपको इस बात का ध्यान रखना होगा कि किसी भी व्यक्ति का बुरा या अहित हो, ऐसी कोई भी मनोकामना नंदी जी के कान में ना कहें।

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