Ancestral Property Distribution 2025 :पैतृक संपत्ति में सिर्फ अपना हिस्सा कैसे करें अपने नाम – आसान स्टेप्स 2025

Saroj kanwar
6 Min Read

पैतृक संपत्ति का मसलन भारत में बहुत आम है, लेकिन जब इसके हिस्से को अपने नाम करवाने की बात आती है तो कई बार बहुत उलझन होती है। खासकर जब संपत्ति कई लोगों के नाम पर होती है या विवाद होता है। 2025 में पैतृक संपत्ति में सिर्फ अपना हिस्सा अपने नाम करवाना थोड़ा आसान हो गया है, अगर सही प्रक्रिया अपनाई जाए। इस आर्टिकल में इसे आसान हिंदी में समझाया गया है ताकि हर कोई बिना जटिलताओं के समझ सके।

पैतृक संपत्ति का मतलब होता है वो जमीन-जायदाद जो हमारे पूर्वजों से बिना बटवारे के आई हो। इसका हिस्सा पाने के लिए कभी-कभी कानूनी प्रक्रियाओं का पालन करना जरुरी होता है। यह प्रक्रिया इसलिए भी जरूरी है ताकि आगे चलकर विवाद से बचा जा सके और हक पक्का किया जा सके। इस आर्टिकल में आपको 2025 के नियम अनुसार पैतृक संपत्ति में अपना हिस्सा केवल अपने नाम कैसे करें, इसके आसान स्टेप्स मिलेंगे।

पैतृक संपत्ति में केवल अपना हिस्सा अपने नाम करने की प्रक्रिया (Ancestral Property Share Transfer 2025)

पैतृक संपत्ति में सिर्फ अपना हिस्सा अपने नाम करना एक वैधानिक प्रक्रिया है। इसके लिए आपको जमीन के खतियान, वंशावली, तहसील और सरकारी राजस्व कार्यालयों की मदद लेनी होती है।

पैतृक संपत्ति का मतलब

पैतृक संपत्ति वो होती है जो पुरखों से, खासकर पिता या दादा के समय से आपकी फैमिली की है और अब तक बंटवारा नहीं हुआ हो। इसमें भाइयों, बहनों और अन्य परिवार के सदस्यों का भी हिस्सा होता है।

अपना हिस्सा अपने नाम कैसे करें?

  1. सबसे पहले आप जिस संपत्ति का हिस्सा लेना चाहते हैं, उसका खतियान (Land Record) और खसरा नंबर (Khasra Number) चेक करें।
  2. उसके बाद वंशावली (Family Tree) बनवाएं, जिसमें साफ दिखे कि उस संपत्ति में आपका कानूनी हिस्सा कितना है।
  3. तहसील या राजस्व विभाग में एक आवेदन दें कि आपकी पैतृक संपत्ति का जो हिस्सा आपका है, उसे आपको नामांतरित किया जाए।
  4. दस्तावेज जैसे पहचान पत्र, खतियान की प्रमाणित कॉपी, वंशावली, और कभी-कभी सहमति पत्र भी देना होता है।
  5. तहसीलदार या राजस्व अधिकारी जमीन का निरीक्षण करता है और पूरे परिवार से जानकारी एकत्र करता है।
  6. किसी भी विवाद या आपत्ति के लिए पब्लिक नोटिस जारी किया जाता है।
  7. अगर सब कुछ सही पाया जाता है, तो नामांतरण (Mutation) कर दिया जाता है और आपका हिस्सा आपके नाम पर आ जाता है।

पैतृक संपत्ति में केवल अपना हिस्सा नामांतरण के लिए जरूरी दस्तावेज

दस्तावेज़ का नामविवरण
खतियान (Certified Copy)जमीन के पंजीकृत दस्तावेज़ की प्रमाणित कॉपी
पहचान पत्रआधार कार्ड, वोटर कार्ड आदि
वंशावलीपरिवार के सदस्य और उनकी संपत्ति में हिस्सेदारी का दस्तावेज़
आवेदन पत्रतहसील या राजस्व विभाग को लिखा गया आवेदन
सहमति पत्र/अन्य प्रमाण पत्रजब सभी परिवार वाले सहमत हों तब रखा जाता है
राजस्व आदि के अधिकारी के आदेशदस्तावेज़ जो अधिकारिक रूप से नामांतरण सुनिश्चित करते हैं
मृत्यु प्रमाण पत्रअगर संपत्ति मृतक के नाम से ट्रांसफर हो रही हो
उप-पंजीयन की रसीदनामांतरण शुल्क की रसीद

पैतृक संपत्ति में भागीदारी और नामांतरण के मुख्य बिंदु

  • पैतृक संपत्ति में भाइयों-बहनों का एक समान हिस्सा होता है।
  • अगर कोई सहमति नहीं है तो तहसीलदार निवास क्षेत्र जाकर सर्वे करता है और विवाद न हो इसके लिए निगरानी करता है।
  • नामांतरण के लिए साझा सहमति होना जरूरी नहीं, पर अदालत का रास्ता भी खुला रहता है।
  • नामांतरण के बाद बही खाते (खतौनी) में नया मालिक दर्ज होता है।
  • Mutation यानी नामांतरण के बाद संपत्ति पर स्वामित्व की कानूनी पुष्टि होती है।
  • इस प्रक्रिया में आमतौर पर 2 से 3 महीने का समय लग सकता है।

आसान स्टेप्स में पैतृक संपत्ति में हिस्सा नामांतरण कैसे करें – संक्षिप्त सारांश

स्टेप का नामक्या करें
स्टेप 1: खतियान प्राप्त करेंतहसील कार्यालय से जमीन के खतियान और खसरा नंबर की प्रमाणित कॉपी लें
स्टेप 2: वंशावली बनवाएंपरिवार का वंश लिखवाएं जिससे हिस्सा स्पष्ट हो जाए
स्टेप 3: तहसील में आवेदन करेंपहचान, खतियान और वंशावली के साथ आवेदन पत्र जमा करें
स्टेप 4: राजस्व निरीक्षणअधिकारी द्वारा भूमि का सर्वे और विवाद समाधान
स्टेप 5: नामांतरण कार्यवाहीतहसीलदार द्वारा Mutation कराना और नए मालिक का नाम दर्ज करना
स्टेप 6: दस्तावेज़ प्राप्त करेंMutation सर्टिफिकेट और अन्य राजस्व दस्तावेज़ प्राप्त करें

नामांतरण करने के लिए सलाह और सावधानियां

  • हमेशा तहसील या राजस्व विभाग से ही प्रमाणित खतियान और दस्तावेज प्राप्त करें।
  • विवाद होने पर बिना सलाह के कोई समझौता न करें। कानूनी सलाह लेना बेहतर रहता है।
  • नामांतरण करते समय अन्य हिस्सेदारों का नोटिस जरूर दें ताकि आगे विवाद न हो।
  • Mutation प्रक्रिया खत्म होने के बाद कभी-कभी संपत्ति कर रिकॉर्ड भी अपडेट करें।
  • किसी भी फर्जी दस्तावेज़ या गैरकानूनी तरीके से बचें।

निष्कर्ष

पैतृक संपत्ति में केवल अपना हिस्सा अपने नाम करने की पूरी प्रक्रिया अब 2025 में काफी आसान हुई है। सरकार ने बहुत सारी प्रक्रियाएं डिजिटल और पारदर्शी बनाने पर जोर दिया है। ध्यान रहे कि सही दस्तावेज और चरणों का पालन जरूरी है। अगर आप सही तरीके से आवेदन करेंगे, तो आपका हक पक्का होगा और आप अपनी हिस्सेदारी पर पूर्ण अधिकार पा सकेंगे।

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