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सीएनजी से भी सस्ते में चलेगी इस गैस से गाड़ियां ,यहां जाने सरकार कर रही है बड़ी तैयारी

 

पेट्रोल डीजल की महंगी कीमतों की वजह से लोग सीएनजी पर शिफ्ट कर रहे हैं। हालांकि सीएनजी के भी अपने फायदे और नुकसान है। इसका सबसे बड़ा नुकसान है कि आपको लंबी लंबी लाइनों में लगना पड़ता है।  लेकिन जल्दी ही भारत में तस्वीर बदल सकती और सीएनजी को रिप्लेस करने के लिए कंप्रेस्ड बायोगैसआने वाली है। केंद्रीय पेट्रोलियम और नैचुरल गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी की मानें तो कंप्रेस्ड बायोगैस (Compressed Biogas) के इस्तेमाल को बढ़ाने पर तेजी से काम हो रहा है उन्होंने बताया कि 2024 तक 5000 कर्मिशियल  कंप्रेस्ड बायोगैस प्लांट लगाए जाएंगे। इसके अलावा 46 प्लांट्स को पहले ही परमिशन मिल चुकी है। 

क्या होती है CBG?
 

CBG यानी कंप्रेस्ड  बायोगैस एक ऊर्जा स्रोत है जो फसलों फसलों, ठोस अवशेषों, गोबर, गन्ने के कचरे, घरेलू कचरे और संयंत्रों से प्राप्त की जाती है। इसे मीथेन गैस की तरह इस्तेमाल किया जाता है। लेकिन यह पर्यावरण को कम हानि पहुंचाती है। इसका निर्माण मुख्य रूप से मेथेन ,हाइड्रोजन और कार्बन से मिलकर बनी होती है। सीबीजी का इस्तेमाल परिवहन सेक्टर ऊर्जा उत्पादन और घर के इस्तेमाल में किया जा सकता है। 

ऐसे होता है निर्माण


जब यह गैस शुरुआती दौर में रहती है तो इसमें मीथेन, कार्बन डाई आक्साइड और हाइड्रोजन सल्फाइड की मौजूदगी रहती है।  इसके बाद कार्बन डाई आक्साइड और हाइड्रोजन सल्फाइड को हटाकर इसे कम्प्रेस किया जाता है।  इस तरह कंप्रेस्ड बायोगैस बनती है। आखिरी में मीथेन की मात्रा 90 फीसदी हो जाती है, जो पहले केवल 60-65 फीसदी थी।